Wednesday, February 10, 2021

गणेश-वंदन (कुण्डलिया)

पूजा प्रथम गणेश की, संकट देती टाल।
रिद्धि सिद्धि के नाथ ये, गज का इनका भाल।
गज का इनका भाल, पेट है लम्बा जिनका।
काया बड़ी विशाल, मूष है वाहन इनका।
विघ्न करे सब दूर, कौन ऐसा है दूजा।
भाद्र शुक्ल की चौथ, करो गणपति की पूजा।।

बासुदेव अग्रवाल 'नमन'
तिनसुकिया
05-09-2016

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